शुक्रवार, 19 अप्रैल 2019

साइकॉलजी (Psychology) मे करियर



मनोविज्ञान यानि साइकोलाजी एक बेहद रोचक विषय जिसके जरिये हम व्यक्ति के मन की बात आसानी से जान सकते हैं । आज अधिकांश व्यक्ति तनाव का सामने करते हैं तेज़ रफ्तार व कम्पटिशन भरी ज़िंदगी लोगो को डिप्रेशन मे डाल रही है जिसके कारण आत्महत्या जैसी घटनाए बढ़ रही हैं ऐसे मे एक साइकोलाजिस्ट इंसान के जीवन के उतारचढ़ाव को समझ कर उसका उचित मार्गदर्शन कर सकता है । साइकोलाजी का क्षेत्र काफी बड़ा है इसके अंतर्गत हर आयु के लोगो के साथ काम किया जाता है व सिर्फ इतना ही नहीं साइकोलाजी से संबन्धित कई क्षेत्रो मे करियर बनाया जा सकता है ।

साइकोलाजिस्ट समाज की अवशयकता है!
आज समाज को साइकोलाजिस्ट की काफी ज़रूरत है बढ़ती आत्महत्याओ, डिप्रेशन का कारण यही है कि समाज मे काउन्सलिंग की अच्छी व्यवस्था नहीं है जिसके कारण व्यक्ति को उचित सलाह व मार्गदर्शन प्राप्त नहीं हो पाता । समाज को हर स्तर पर काउन्सलिंग की आवशयकता है । असल मे साइकॉलजी के अंतर्गत दिमाग की स्थिति व इंसान के व्यवहार का अध्यन किया जाता है । साइकॉलजी एक विज्ञान है जिसमे हम इंसान के दिमाग के काम करने, सोचने इत्यादि का अध्यन किया जाता है । बदलते लाइफस्‍टाइल के साथ साइकोलाजी में करियर बनाने की संभावनाएं भी बढ़ती जा रही हैं ।साइकोलॉजी ट्रीटमेंट, बिना दवाइयों का सेवन किए और सोच में परिवर्तन लाने पर आधारित होता है । 

साइकॉलजी के अंतर्गत आप निम्नलिखित फील्ड मे विशेषज्ञ बन सकते हैं- 
Clinical Psychology 
Educational Psychology
Child Psychology
Experimental Psychology
Occupational Psychology
Social Psychology
Forensic Psychology
Neuropsychology
साइकोलॉजी मे कोर्स:
बीए/बीएससी इन साइकोलॉजी (3 वर्ष)
एमए/एमएससी इन साइकोलॉजी (2 वर्ष)
पीजी डिप्लोमा इन साइकोलॉजी (2 वर्ष)

रोजगार के अवसर
मानव व्यवहार से संबंधित आंकड़े हासिल करने हों या फिर स्कूल, कॉलेज में काउंसलर के रूप में काम करना हो। मनोवैज्ञानिकों की मांग तेजी से बढ़ रही है। यह एक ऐसा विषय है जिसके बारे में लोग ज्यादा नहीं जानते। या फिर यह कहें कि जानना नहीं चाहते। लेकिन यह बात भी सही है कि इस क्षेत्र में अब करियर की अपार संभावनाएं बढ़ती जा रही हैं। समाज सेवा और खेलों के क्षेत्र में भी मनोवैज्ञानिकों की मांग तेजी से बढ़ रही है । मनोवैज्ञानिकों की जरूरत अब हर क्षेत्र में पड़ने लगी है। जेलों में कैदियों को सुधारने का काम हो या समाज सेवा में जुटे स्वयं सेवी संगठन। हर जगह ऐसे विशेषज्ञों की जरूरत पड़ने लगी है। अब तो कारोबार, प्रबंधन और कर्मचारी संबंधों को लेकर विभिन्न कंपनियां अपने यहां मनोवैज्ञानिकों को मोटे वेतन पर रखने लगी हैं। मनोवैज्ञानिक निजी तौर पर भी अपनी सेवाएं देकर अच्छी कमाई कर सकते हैं।
 खेल आदि के क्षेत्र में भी विभिन्न टीमों के साथ मनोवैज्ञानिकों की जरूरत पड़ने लगी है। स्पोर्ट्स क्लब खिलाड़ियों को मानसिक रूप से मजबूत बनाने के लिए मनोवैज्ञानिकों की सेवाएं लेते हैं। यहां तक कि विभिन्न देशों की टीमों के साथ भी मनोवैज्ञानिक विशेषज्ञों को रखा जाता है। विभिन्न कंपनियां और सरकारी संस्थान अपने बेहतर कर्मचारियों के चयन के लिए भी इनकी सेवाएं लेती हैं। अत: यह कहा जा सकता है की इस क्षेत्र में सफलता की काफी मौके हैं ।

कुछ प्रमुख संस्थान
दिल्ली विश्वविद्यालय, दिल्ली
जामिया मिलिया इस्लामिया, दिल्ली
बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय, बनारस  
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय, अलीगढ़
इग्नू, दिल्ली

लेखक: आफताब फ़ाज़िल 
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